Policeman beat up devotees in Ayodhya

अयोध्या में सिपाही ने श्रद्धालुओं से की मारपीट, वीडियो वायरल, पुलिस प्रशासन ने दिए जांच के आदेश

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अयोध्या, उत्तर प्रदेश—धार्मिक नगरी अयोध्या में एक पुलिसकर्मी द्वारा श्रद्धालुओं के साथ मारपीट का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिससे उत्तर प्रदेश पुलिस की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं। यह घटना अयोध्या के थाना हैदरगंज क्षेत्र के धोबना चौराहा पर घटित हुई, जहां रामलला के दर्शन के लिए आए श्रद्धालुओं की गाड़ी एक पुलिसकर्मी की कार से हल्की टक्कर खा गई। इस मामूली दुर्घटना के बाद, पुलिसकर्मी ने अपना आपा खो दिया और गाड़ी के ड्राइवर को थप्पड़ों से पीटना शुरू कर दिया। इस दौरान, अन्य श्रद्धालुओं के साथ भी अभद्र व्यवहार किया गया। पूरी घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है, जिसमें पुलिसकर्मी की बर्बरता स्पष्ट रूप से देखी जा सकती है।

घटना के प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, पुलिसकर्मी ने अपनी कार को बैरियर की जगह पर खड़ा कर रखा था, जिससे यातायात बाधित हो रहा था। जब श्रद्धालुओं की गाड़ी गलती से पुलिसकर्मी की कार से टकराई, तो उसने गुस्से में आकर ड्राइवर को बीच सड़क पर पीटना शुरू कर दिया। इस घटना ने स्थानीय लोगों और सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं में भारी आक्रोश पैदा कर दिया है।

सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो में स्पष्ट देखा जा सकता है कि पुलिसकर्मी किस तरह से अपनी वर्दी का दुरुपयोग कर रहा है और कानून की रक्षा करने के बजाय खुद कानून हाथ में ले रहा है। इस घटना ने उत्तर प्रदेश पुलिस की छवि को धूमिल किया है और पुलिस बल की विश्वसनीयता पर प्रश्नचिह्न लगा दिया है।

इस घटना के बाद, स्थानीय प्रशासन और पुलिस विभाग ने मामले की जांच के आदेश दिए हैं। अयोध्या के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने कहा है कि दोषी पुलिसकर्मी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और इस तरह की घटनाओं को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने यह भी आश्वासन दिया कि भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो, इसके लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।

यह घटना उस समय सामने आई है जब अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के चलते देशभर से श्रद्धालु बड़ी संख्या में दर्शन के लिए आ रहे हैं। ऐसे में पुलिसकर्मियों से अपेक्षा की जाती है कि वे श्रद्धालुओं के साथ सौहार्दपूर्ण व्यवहार करें और कानून-व्यवस्था बनाए रखें। लेकिन इस घटना ने पुलिस बल की संवेदनशीलता और पेशेवरिता पर सवाल खड़े कर दिए हैं।

इससे पहले भी अयोध्या में श्रद्धालुओं के साथ दुर्व्यवहार की घटनाएं सामने आ चुकी हैं। हाल ही में, दिल्ली से आए एक श्रद्धालु के साथ होटल कर्मचारियों द्वारा मारपीट का मामला प्रकाश में आया था, जिसमें होटल के रिसेप्शनिस्ट को शांति भंग करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।

इन घटनाओं से स्पष्ट होता है कि अयोध्या में श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सम्मान सुनिश्चित करने के लिए स्थानीय प्रशासन और पुलिस विभाग को अपने कर्मियों के व्यवहार में सुधार लाने की आवश्यकता है। साथ ही, पुलिसकर्मियों को संवेदनशीलता और पेशेवरिता के साथ अपने कर्तव्यों का निर्वहन करना चाहिए ताकि श्रद्धालुओं का विश्वास बना रहे और अयोध्या की धार्मिक महत्ता अक्षुण्ण रहे।

इस घटना के बाद, सोशल मीडिया पर लोगों ने अपनी नाराजगी जाहिर की है और दोषी पुलिसकर्मी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। कई उपयोगकर्ताओं ने उत्तर प्रदेश पुलिस से इस मामले में त्वरित और निष्पक्ष जांच की अपील की है ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।

अयोध्या प्रशासन ने भी इस घटना को गंभीरता से लिया है और आश्वासन दिया है कि दोषी पुलिसकर्मी के खिलाफ उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी। साथ ही, प्रशासन ने यह भी कहा है कि पुलिस बल के सभी सदस्यों को संवेदनशीलता और पेशेवरिता के साथ अपने कर्तव्यों का पालन करने के लिए निर्देशित किया जाएगा ताकि श्रद्धालुओं के साथ इस तरह की घटनाएं दोबारा न हों।

इस घटना ने एक बार फिर यह साबित किया है कि कानून के रक्षक यदि स्वयं कानून का उल्लंघन करें, तो समाज में अराजकता फैलती है। इसलिए, पुलिसकर्मियों को अपने आचरण में सुधार लाना होगा और जनता के साथ सम्मानपूर्वक व्यवहार करना होगा ताकि पुलिस और जनता के बीच विश्वास और सहयोग का वातावरण बना रहे।

अंततः, यह घटना एक चेतावनी है कि कानून के रक्षकों को अपने कर्तव्यों का पालन संवेदनशीलता और जिम्मेदारी के साथ करना चाहिए। श्रद्धालुओं और आम जनता के साथ सौहार्दपूर्ण व्यवहार ही पुलिस बल की साख को बढ़ा सकता है और समाज में शांति और व्यवस्था बनाए रख सकता है।

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