नई दिल्ली: प्रोफेसर, पत्रकार और लेखक दिलीप मंडल ने हाल ही में सरकार को लेकर एक तीव्र टिप्पणी की है। उनके अनुसार, सरकार को बड़े फैसले खुद उठाने चाहिए और इसके लिए संसद का सहारा लेना चाहिए। मंडल ने यह भी कहा कि संविधान संशोधन की आवश्यकता है और न्यायालयों के दरवाज़े का इस्तेमाल नहीं होना चाहिए।
मंडल ने अपने बयान में सरकार की नीति पर सवाल उठाते हुए कहा कि हाल के दिनों में देखा गया है कि एससी-एसटी एक्ट और रोस्टर जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर कोर्ट का चोर दरवाज़ा अपनाया गया है। उन्होंने कहा कि इस तरह का असंवैधानिक तरीका अपनाना जनता को धोखा देने जैसा है। उनके मुताबिक, सरकार को सीधे संसद में आकर इन मुद्दों पर चर्चा करनी चाहिए और संविधान में आवश्यक संशोधन करने चाहिए।
सरकार को बड़े फ़ैसले खुद करने चाहिए। संसद में आएँ। संविधान संशोधन करें।
— Dilip Mandal (@Profdilipmandal) August 5, 2024
कोर्ट का चोर दरवाज़ा न एससी-एसटी एक्ट में चला, न रोस्टर में. न ये तरीक़ा बँटवारे में चलेगा।
ये असंवैधानिक तरीक़ा है। जनता को धोखा देना है। https://t.co/MUbJBB37e0
मंडल ने एससी-एसटी एक्ट और रोस्टर के मुद्दों पर चिंता जताते हुए कहा कि यह मुद्दे समाज के एक महत्वपूर्ण वर्ग से जुड़े हैं और इनके समाधान के लिए पारदर्शी और संविधानिक रास्ता अपनाना चाहिए। उन्होंने कहा कि जब तक सरकार खुद इन मुद्दों पर सीधे हस्तक्षेप नहीं करेगी और संविधान में आवश्यक परिवर्तन नहीं करेगी, तब तक स्थिति में सुधार की उम्मीद कम है।
मंडल का यह बयान देश में चल रहे SC/ST में वर्गीकरण संवैधानिक और सामाजिक मुद्दों पर एक नई बहस की शुरुआत कर सकता है। उनका कहना है कि संसद को इन महत्वपूर्ण मुद्दों पर सक्रिय भूमिका निभानी चाहिए और सरकार को इन मुद्दों के समाधान के लिए अपने अधिकारों का सही उपयोग करना चाहिए।
उनके अनुसार, न्यायालयों के माध्यम से बारीकी से इन मुद्दों को सुलझाना एक प्रकार की असंवैधानिक प्रक्रिया है और इससे समाज में अधिक भ्रम और असंतोष पैदा हो सकता है। मंडल ने अपील की है कि सरकार को संसद में आकर इन मुद्दों पर खुलकर चर्चा करनी चाहिए और संविधान में आवश्यक संशोधन करना चाहिए ताकि समाज में न्याय और समानता सुनिश्चित की जा सके।