दिल्ली के ओल्ड राजेन्द्र नगर इलाके में स्थित एक IAS कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में हुए एक दुखद हादसे ने शहर को हिला कर रख दिया है। कोचिंग सेंटर के छात्र सुशांत मेहरा ने आज तक से बातचीत करते हुए बताया कि मीडिया और पुलिस द्वारा मरने वालों की संख्या केवल 3 बताई जा रही है, जबकि उसकी आंखों के सामने काली पॉलीथीन में लपेटकर शवों को वैन में ले जाया जा रहा था। सुशांत के मुताबिक, मृतकों की वास्तविक संख्या 30 से भी अधिक हो सकती है, हालांकि केवल 3 मौतों की पुष्टि की गई है।
ओल्ड राजेंद्र नगर में प्रदर्शन कर रहे इस छात्र की बात सुनिए
— Priya singh (@priyarajputlive) July 28, 2024
छात्र कह रहा है की ‘30 से ज्यादा मौतें हुई हैं लेकिन आधिकारिक रूप से केवल 3 मौतें बताई गईं.’ pic.twitter.com/7OPzvtnBsQ
पुलिस ने पुष्टि की है कि कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में पानी भरने के कारण तीन छात्रों की मौत हो गई। मृतकों की पहचान श्रेया यादव, तानिया सोनी और नेविन डेल्विन के रूप में की गई है। इस मामले में कोचिंग सेंटर के मालिक अभिषेक गुप्ता और कोऑर्डिनेटर देशपाल सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है।
संबंधित पुलिस अधिकारियों ने बीएनएस की धारा 105 (गैर इरादतन हत्या), 106(1) (लापरवाही से मृत्यु), 115/2 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाना), 290 (इमारतों के निर्माण या मरम्मत में लापरवाही) और 35 के तहत एफआईआर दर्ज की है। कोचिंग सेंटर का मैनेजमेंट और सिविक एजेंसी के लोग जांच के दायरे में हैं।
इस गंभीर घटना ने कोचिंग सेंटरों की सुरक्षा और प्रबंधन के मुद्दे पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। शहरवासियों और छात्रों में गहरी चिंता और आक्रोश का माहौल है। पुलिस और प्रशासन की जांच से उम्मीद की जा रही है कि सही तथ्यों की खोजबीन की जाएगी और जिम्मेदारों को कड़ी सजा दिलाई जाएगी।